धर्म /अध्यात्म

भाद्रपद में शुरू होगा महालक्ष्मी व्रत, जानें व्रत से जुड़े महत्व और धन लाभ के उपाय

हिन्दू पंचांग के अनुसार, हर साल भाद्रपद माह में आने वाली शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि से महालक्ष्मी व्रत की शुरुआत मानी जाती है। यह व्रत आश्विन माह की कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि तक चलता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जो भी श्रद्धापूर्वक इस व्रत का पालन करता है, उसे धन-संपत्ति की वृद्धि होती है और जीवन में सुख-समृद्धि का आगमन होता है।

महालक्ष्मी व्रत में आने वाला शुक्रवार विशेष महत्व रखता है। इस दिन व्रती देवी महालक्ष्मी की पूजा करके उनके आशीर्वाद को प्राप्त कर सकते हैं।

व्रत के दौरान किए जाने वाले कुछ महत्वपूर्ण उपाय इस प्रकार हैं:

व्रती अपने कलाई में 16 गांठ वाला पवित्र धागा बांधते हैं, जिसे देवी लक्ष्मी के 16 स्वरूपों का प्रतीक माना जाता है।

यह धागा व्रत समाप्ति के बाद तिजोरी या धन रखने के स्थान पर रखा जाता है। ऐसा करने से कहा जाता है कि व्यक्ति को धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ता।

धार्मिक विद्वानों के अनुसार, महालक्ष्मी व्रत का यह विशेष पर्व न केवल आस्था का प्रतीक है बल्कि जीवन में आर्थिक और पारिवारिक समृद्धि लाने का भी अवसर प्रदान करता है।